भोपाल । बच्चों की सुरक्षा करना केवल माता-पिता की ही जिम्मेदारी नहीं है, यह संपूर्ण समाज का दायित्व है। पुलिस में रहकर हम सबको समाज सेवा का यह पुण्य कमाने का सुअवसर मिला है। इसलिए बच्चों के प्रति कोमल भावना रखकर उनकी मदद करें। यह बात पुलिस महानिदेशक विजय कुमार सिंह ने मध्यप्रदेश रेल पुलिस द्वारा आयोजित कार्यशाला में प्रदेश भर से आए रेल पुलिस अधिकारियों का आह्वान करते हुए कही। इस अवसर पर उन्होंने रेलवे स्टेशन व यात्रियों की सुरक्षा के लिए फुल-प्रूफ सिस्टम विकसित करने पर भी विशेष बल दिया।
अवयस्क बालक-बालिकाओं के संरक्षण व सुरक्षा के संबंध में वैधानिक प्रावधान व उनके प्रभावी क्रियान्वयन को लेकर शुक्रवार को यहां पुलिस मुख्यालय के सभागार में अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक रेल श्रीमती अरूणा मोहन राव एवं पुलिस महानिरीक्षक रेल जयदीप प्रसाद की मौजूदगी में अहम कार्यशाला आयोजित हुई। कार्यशाला में राष्ट्रीय स्तर के ख्याति प्राप्त विधि एवं विषय विशेषज्ञों ने अपने व्याख्यानों के जरिए बच्चों की सुरक्षा के प्रति रेल पुलिस अमले का ज्ञानवर्धन किया।
पुलिस महानिदेशक श्री सिंह ने निर्देश दिए कि शासकीय रेलवे पुलिस, रेल प्रबंधन और आरपीएफ के समन्वय से ऐसा फुल-प्रूफ सिस्टम विकसित करें, जिससे कोई भी अवांछित तत्व न तो रेलवे स्टेशन में घुस पाए और न ही बाहर जा पाए।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक रेल श्रीमती अरूणा मोहन राव ने कहा कि रेलवे स्टेशन पर रहने वाले निराश्रित बच्चे अपराधियों के चंगुल में फंसकर गलत राह न पकड़ें। इसलिए ऐसे बच्चों को चाईल्ड लाईन को सौंपें। साथ ही निर्देश दिए कि रेलवे स्टेशन क्षेत्र से गुम हुए बच्चों का पता लगाने के लिए गंभीरता के साथ प्रयास किए जाएं।
उच्च न्यायलय दिल्ली के वरिष्ठ अधिवक्ता एवं जे.जे.एक्ट के राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त विशेषज्ञ आनंद अस्थाना ने कहा रेल मंत्रालय द्वारा गठित एसओपी की प्रक्रिया के अनुसार काम कर बेहतर ढंग से बच्चों की सुरक्षा एवं उनका समग्र कल्याण किया जा सकता है।
राज्य बाल आयोग के पूर्व अध्यक्ष राघवेन्द्र शर्मा ने बच्चों के कल्याण के लिए संवेनदशील व जागरूक होकर काम करने को कहा। आरंभ स्वयंसेवी संस्था से जुड़ी श्रीमती अर्चना सहाय ने किशोर न्याय एवं बालकों की देखरेख व संरक्षण अधिनियम और इसके नियमों के बारे मे बताया। एआईजी महावीर सिंह मुजाल्दे, बाल कल्याण समिति के सदस्य कृपाशंकर चौबे व सहायक संचालक महिला बाल विकास आशीष सिंह ने भी विचार व्यक्त किए।
कार्यशाला में रेल पुलिस अधीक्षक भोपाल मनीष अग्रवाल व जबलपुर सुनील जैन व सहायक पुलिस महानिरीक्षक रेल धर्मवीर सिंह यादव सहित रेल पुलिस के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, विभिन्न जीआरपी थानों के प्रभारी व बाल कल्याण अधिकारी मौजूद थे।
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