कोलारस - कोलारस परगने के अंतर्गत दो ब्लॉक आते है जिनमें कोलारस एवं बदरवास की हम बात करे तो दोनो ब्लॉको में मिलाकर कोलारस, बदरवास, खतौरा, रन्नौद, लुकवासा, खरई में खाद की विक्री प्राईवेट लोगो द्वारा की जाती है इन स्थानों पर बीते करीब एक माह से डीएपी एवं यूरिया खाद की काला बाजारी खुलेआम जारी है कृषि विभाग के अधिकारी कार्यवाही करने की जगह मौन साधे हुये है जबकि जनप्रतिनिधियों से लेकर विपक्षी दल का मौन साधना समझ से परे है जिसके चलते अन्नदाता किसान एक तरफ दो दिन से हो रही वारिष के चलते अपनी खेतो मे आई हुई उडद की फसल बर्वाद होते देख रहा है दूसरी तरफ अन्नदाता को प्राईवेट दुकानदार खाद ब्लैक में दे रहे है।
कोलारस कहने को विधानसभा मुख्यालय है यहां वैध एवं अवैध दुकानों के साथ-साथ करीब एक दर्जन गोदामों में व्यापारियों द्वारा डीएपी एवं यूरिया खाद का भण्डारण किया हुआ है जहां से किसानों को डीएपी खाद 1350रू की 1550रू में दिया जा रहा है वही यूरिया खाद 270रू की जगह 350रू में बेचा जा रहा है कोलारस में कृषि विभाग से लेकर राजस्व एवं पुलिस के अधिकारी मौजूद है इसके बाद भी प्राईवेट दुकानदार दुकानों से लेकर गोदामों से अन्नदाता को ब्लैक में वेच रहे है मामला समझ से परे है आखिर अन्नदाता को बीते एक माह से लुटते हुये प्रषासनिक अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों सबको पता है उसके बाद भी आखिर किसान को निर्धारित दर पर खाद उपलब्ध क्यों नहीं हो रहा है जब अगले वर्ष विधानसभा के चुनाव होना है उससे पूर्व किसानों के साथ खाद व्यापारियों की लूट मार जारी है और सत्ताधारी दल से लेकर विपक्ष के नेता मौन साधे हुये है आखिर प्राईवेट दुकानदारों के विरूद्ध ग्राहक बनकर प्रषासनिक अधिकारी पहुंचे तो मामला खुदबा खुद सामने आ जायेगा सच्चाई क्या है और अन्नदाता को बीते दो दिनों से अतिवारिष के चलते बर्वाद होती उड़द-मूंग की फसल के साथ खाद व्यापारियों द्वारा लूटमार से कुछ तो राहत मिलेगी।