ग्वालियर - ग्वालियर जिले के डबरा में स्थित मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस में हुए करोड़ों के घोटाले के आरोपी पिता पुत्र को 4 किलो से ज्यादा के सोने के साथ पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया पुलिस आरोपियों को राजस्थान के भरतपुर और उत्तर प्रदेश के आगरा में तलाश रही थी. खास बात यह है कि मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस का असिस्टेंट मैनेजर विकास कुमार इस पूरे मामले का मास्टरमाइंड था।
ब्रांच मैनेजर विकास ने आगरा से बेंटेक्स हूबहू लाकर में रखी ज्वेलरी बनवाई और उसे आठ डिब्बों में लाकर रख दी इससे पहले उसने लॉकर की डुप्लीकेट चाबी भी हासिल कर रखी थी 29 सितंबर को मणप्पुरम गोल्ड लोन के दिव्यरंजन मोहंती ने डबरा सिटी कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि वह एरिया हेड के रूप में पदस्थ है।
इनकी शाखा में 24 सितंबर को लेखा-जोखा देखा गया तो कंपनी की तिजोरियों में गिरवी रखा 4 किलो 318 ग्राम सोने के जेवर जिनकी कीमत लगभग 5.7 करोड रुपए से ज्यादा थी वह गायब थे उनकी जगह नकली गहने रखे हुए मिले यह घटना 20 और 21 सितंबर के बीच की बताई गई थी पुलिस ने जब पूरे मामले की जांच पड़ताल शुरू की तो असिस्टेंट ब्रांच मैनेजर विकास की भूमिका संदिग्ध लगी वह गोल्ड चुराने के बाद छुट्टी लेकर गायब हो गया था विकास और उसके पिता महेश को भरतपुर से गिरफ्तार कर लिया गया है उनके कब्जे से 4 किलो से ज्यादा सोना बरामद भी हो गया है।पुलिस को 67000 की नगदी भी मिली है।
जबकि करीब 180 ग्राम सोना पिता पुत्र ने बेच दिया है उसे बरामद करने की कोशिश की जा रही है असिस्टेंट मैनेजर विकास कुमार ने कंपनी कार्यालय के सीसीटीवी कैमरे की दिशा मोड़ दी थी और शाखा का इंटरनेट का तार भी काट दिया था।
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